संकष्टी चतुर्थी पूजन विधि Sankashti Chaturthi Puja Vidhi
एकदन्त संकष्टी चतुर्थी व्रत तिथि 2025 Sankashti Chaturthi Date Time 2025
- साल 2025 एकदन्त संकष्टी चतुर्थी व्रत 16 मई शुक्रवार के दिन रखा जाएगा|
- चतुर्थी तिथि शुरू होगी – 16 मई प्रातःकाल 04:02 मिनट|
- चतुर्थी तिथि समाप्त होगी – 17 मई प्रातःकाल 05:13 मिनट|
- विजय मुहूर्त – दोपहर 02:34 मिनट से दोपहर 03:28 मिनट
- गोधूलि मुहूर्त – सायंकाल 07:04 मिनट से सायंकाल 07:25 मिनट
- चन्द्रोदय का समय होगा – रात्रि 10:39 मिनट|
एकदन्त संकष्टी चतुर्थी पूजन विधि Sankashti Chaturthi Pooja Vidhi 2025
शास्त्रों के अनुसार चतुर्थी के दिन प्रात: जल्दी उठकर स्नान के बाद व्रत का संकल्प ले. पूजास्थल में साफ़ चौकी पर पीला वस्त्र बिछाकर भगवान गणेश जी की प्रतिमा स्थापित करे. प्रतिमा को गंगाजल से स्नान कराये तिलक लगाए. अब अक्षत, पुष्प, जनेऊ, दूब, पान, सुपारी, लौंग, इलायची, दुर्वा और मिठाई अर्पित कर मोदक या लड्डूओं का भोग लगाएं। पूजा के दौरान ऊं गं गणपते नम: मंत्र का जाप करें। इसके बाद व्रत कथा पढ़ें या सुनें। रात्रि में चन्द्रमा की पूजा कर व्रत संपन्न करे.
एकदन्त संकष्टी चतुर्थी उपाय Sankashti Chaturthi Upay
- शास्त्रों के अनुसार गणेश जी को मोदक बेहद प्रिय है ऐसे में आज के दिन उन्हें मोदक का भोगा लगाए.
- भगवान गणेश को दूर्वा बहुत प्रिय है। आज के दिन उन्हें 21 जोड़े दूर्वा अर्पित करें.
- एकदन्त संकष्टी चतुर्थी के दिन भगवान गणेश को 5 हल्दी की गांठ ‘श्री गणाधिपतये नम:’ मंत्र का जाप कर चढ़ाएं.
- गणेश जी को पूजा में सिंदूर अर्पित करने से मनोकामना पूरी होती है.
- चतुर्थी के दिन चंद्रोदय के बाद चन्द्रमा को अर्घ्य देना शुभ होता है.