छठ पूजा 2022 भूलकर भी न करे ये काम Chhath Puja 2022 Niyam

छठ पूजा 2022 पूजा विधि Chhath Pujan Vidhi

Chhath Puja 2022 Niyam

Chhath Puja 2022 Niyam दिवाली के समापन के साथ ही छठ पर्व की तैयारियां प्रारम्भ होने लगती है. छठ पर्व हर साल कार्तिक मास शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि यानी छठे दिन मनाया जाता है. जिसकी शुरुवात नहाय खाय से होती है इसे सूर्य षष्ठी के नाम से भी जाना जाता है। छठ पर्व सूर्य देव को समर्पित पर्व है उत्तर भारत में यह पर्व खासा लोकप्रिय है. छठ पूजा के दिन सूर्य देव और उनकी बहिन छठी मैया की पूजा व उन्हें अर्घ्य देने का विधान है। आज हम आपको साल 2022 छठ पर्व पूजा का मुहूर्त, और इस व्रत के दौरान कौन से कार्य वर्जित माने गए है इस बारे में बताएँगे.

छठ पूजा तिथि व शुभ मुहूर्त 2022 Chhath Puja Tithi Shubh Muhurt  

  1. साल 2022 में छठ पूजा का पर्व 30 अक्टूबर रविवार को मनाया जाएगा.
  2. षष्ठी तिथि प्रारम्भ होगी- 30 अक्टूबर प्रातःकाल 05:49 मिनट पर|
  3. षष्ठी तिथि समाप्त होगी- 31 अक्टूबर प्रातःकाल 03:27 मिनट पर|
  4. नहाय खाय तिथि होगी- 28 अक्टूबर शुक्रवार|
  5. खरना तिथि होगी- 29 अक्टूबर शनिवार|
  6. अस्तगामी सूर्य को अर्घ्य देने का मुहूर्त होगा – 30 अक्टूबर शाम 5.37 मिनट पर|
  7. उषा अर्घ्य का शुभ मुहूर्त होगा – 31 अक्टूबर सुबह 6.31 मिनट|

बिना हाथ धोए पूजा सामग्री न छुएं

छठ पूजा के दौरान साफ-सफाई का सबसे ज्यादा ध्यान रहना चाहिए. छठ पर्व 4 दिन तक चलता है इसीलिए इन चार दिनों तक घर को विशेष तौर पर साफ़-सुथरा रखना चाहिए और कहीं भी गंदगी न होने दें. छठ पूजा की सामग्री के आस पास किसी भी तरह की अशुद्धि ना होने दे और पूजन सामग्री को बिना हाथ धोए नहीं छूना चाहिए.

तामसिक भोजन का सेवन न करे

शास्त्रों के अनुसार छठ पर्व के दौरान सात्विकता का विशेष ख्याल रखना चाहिए. मान्यता है की छठ पूजा के दिनों में घर में प्याज-लहसुन का सेवन नहीं करना चाहिए. कोशिश करे की घर के सभी सदस्य इस नियम का पालन करे. इससे छठ मईया का आशीर्वाद प्राप्त होता है.

अर्घ देने का नियम

छठ पूजा में सूर्य देव को अर्घ्य देने का खास महत्व है छठ पर्व के दौरान सूर्य भगवान को अर्घ्य देते समय इस बात का ख़ास ख्याल रखे कि अर्घ्य देने के लिए तांबे या कांसे के लोटे का इस्तेमाल करना चाहिए. व्रती या घर परिवार के अन्‍य लोगों को सूर्य देव को अर्घ्य देने से पहले भोजन ग्रहण नहीं करना चाहिए. व्रती को पहले और दूसरे दिन सूर्य को जल देने के बाद ही भोजन ग्रहण करना चाहिए.

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प्रसाद के लिए अनाज जूठा न हो

मान्यता है की अगर आप छठ पूजा का प्रसाद बनाने के लिए गेंहू आदि को धोकर धूप में सुखा रहे हैं तो इस बात का ध्यान रखें कि पक्षी या जानवर उन्हें जूठा या गंदा न करे. इसके अलावा पूजा में प्रयोग में आने वाली सामग्री भी स्वच्छ होनी चाहिए.

साधारण नमक का प्रयोग न करे

छठ पूजा के व्रत में आप जो भी नमक वाला भोजन या पकवान बनाते हैं, उसमें साधारण नमक का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए बल्कि सेंधा नमक का उपयोग करना चाहिए. छठ पूजा में साधारण नमक का उपयोग वर्जित होता है.

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