चैत्र पूर्णिमा पूजा विधि Chaitra Purnima Puja Vidhi
चैत्र पूर्णिमा शुभ मुहूर्त 2024 Chaitra Purnima 2024 Shubh Muhurat
- साल 2024 में चैत्र पूर्णिमा का व्रत और स्नान-दान 23 अप्रैल मंगलवार को है|
- पूर्णिमा तिथि प्रारम्भ – 23 अप्रैल प्रात:काल 03:25 मिनट पर|
- पूर्णिमा तिथि समाप्त – 24 अप्रैल प्रातःकाल 05:18 मिनट पर|
- पूजा का शुभ मुहूर्त – 11:53 मिनट से दोपहर 12:46 मिनट|
- स्नान-दान का समय – 23 अप्रैल प्रात:काल 04:20 मिनट से प्रात:काल 05:04 मिनट|
- चंद्रोदय का समय – 6:25 मिनट|
चैत्र पूर्णिमा पूजा विधि Chaitra Purnima puja vidhi
पूर्णिमा तिथि पर व्रत रखकर माँ लक्ष्मी और सत्यनारायण जी की पूजा कर रात्रि में चंद्रदेव को अर्घ्य दिया जाता है. पूर्णिमा के दिन सुबह उठकर पवित्र नदी या सरोवर में स्नान कर सूर्य देवता को जल का अर्घ्य दें। यदि नदी में स्नान नहीं कर सकते हैं तो घर पर ही गंगाजल मिले जल से स्नान करे. भगवान सत्यनारायण और मा लक्ष्मी जी की प्रतिमा स्थापित कर पूजा करे. पूजा में भगवन को पीले फल-फूल, चन्दन, धूप-दीप तुलसी दल अर्पित कर खीर का भोग लगाए. इसके बाद व्रत कथा का पाठ कर आरती करे और चंद्रोदय के बाद चन्द्रमा को अर्घ्य देकर व्रत संपन्न करे. इसी दिन हनुमान जी का जन्म भी हुआ है ऐसे में हनुमान जी की पूजा कर हनुमान चालीसा का पाठ करे.
चैत्र पूर्णिमा उपाय Chaitra Purnima Upay
- शास्त्रों के अनुसार चैत्र पूर्णिमा के दिन माँ लक्ष्मी को खीर का भोग लगाना चाहिए.
- मान्यता है कि पूर्णिमा तिथि के दिन पीपल के वृक्ष में माँ लक्ष्मी वास करती हैं। इसलिए इस दिन पीपल के वृक्ष को जल अर्पित करें और संध्या के समय पेड़ के नीचे दीपक जलाएं।
- इस दिन कच्चे दूध में चावल मिलाकर चंद्रदेव को अर्घ्य दें और ‘ॐ ऐं क्लीं सोमाय नम:’ मंत्र का जाप करें।
- चैत्र पूर्णिमा को हनुमान जी का जन्म हुआ इस दिन हनुमान जी की पूजा कर उन्हें बूंदी के लड्डुओं का भोग लगाकर हनुमान चालीसा का पाठ करे.
- इस दिन”ॐ रामदूताय नमः” मंत्र का 108 बार जाप करने से घर सुख शांति आती है.