आमलकी एकादशी पूजा विधि Amalaki Ekadashi Puja Vidhi 2022
Amalaki Ekadashi Date Time 2022 शास्त्रों में एकादशी व्रत का विशेष महत्व है. फाल्गुन मास के शुक्ल पक्ष में आने वाली एकादशी को आमलकी एकादशी या अमला एकादशी कहते है. विष्णु पुराण के अनुसार एक बार भगवान विष्णु जी के मुख से चन्दमा के समान प्रकाशीय बिन्दू प्रकट हुआ और पृथ्वी पर आ गिरा उसी बिन्दू से आंवले के पेड की उत्पति हुई. जिस कारण आंवले के वृक्ष को सर्वश्रेष्ठ माना जाता है. यह फल भगवान विष्णु जी को बेहद प्रिय है. यह एकादशी व्रत सभी एकादशी व्रतों में सर्वश्रेष्ठ होता है. इस व्रत के प्रभाव से व्यक्ति को आरोग्य की प्राप्ति होती है आज हम आपको साल 2022 में आमलकी एकादशी व्रत की सही तिथि, पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और इस दिन कौन से कार्य वर्जित माने गए है इस बारे में बताएँगे.
आमलकी एकादशी तिथि व शुभ मुहूर्त 2022 Amalaki Ekadashi Date Time 2022
- साल 2022 में आमलकी एकादशी का व्रत 14 मार्च सोमवार को रखा जायेगा.
- एकादशी तिथि प्रारम्भ होगी – 13 मार्च प्रातःकाल 10:21 मिनट पर|
- एकादशी तिथि समाप्त – 14 मार्च रात्रि 12:05 मिनट पर|
- व्रत के पारण का शुभ समय होगा – 15 मार्च प्रातःकाल 06:31 मिनट से 08:55 मिनट तक|
आमलकी एकादशी पूजा विधि Amalaki Ekadashi Vrat puja Vidhi
एकादशी व्रत करने वाले जातको को दशमी तिथि से ही व्रत के नियमो का पालन करते हुए इस दिन सात्विक आहार लेना चाहिए. अगले दिन एकादशी तिथि को प्रातः जल्दी उठकर स्नान के बाद हाथ में तिल, कुश, व जल लेकर व्रत का संकल्प ले. और पूजास्थल पर भगवान विष्णु की प्रतिमा स्थापित कर विधिवत पूजा करे. इसके बाद आंवले पेड़ की जड़ में वेदी बनाकर कलश स्थापित करें और कलश में पंच पल्लव रखकर धूप दीप जलाकर सभी पूजन सामग्री आंवले के वृक्ष को अर्पित करें। इस दिन शाम तुलसी के पौधे के सामने घी का दीपक जलाकर तुलसी मंत्रो का जाप करे. अगले दिन द्वादशी की सुबह व्रत का पारण करते हुए ब्राह्मण को भोजन करवाकर दक्षिणा देकर विदा करे.
आमला एकादशी व्रत का महत्व Amalaka Ekadashi Importance
Amalaki Ekadashi Date Time 2022 एकादशी का दिन भगवान विष्णु जी को समर्पित होता है मान्यताओं के अनुसार आमलकी एकादशी के दिन व्रत रखकर भगवान विष्णु और लक्ष्मी माता की विधि-विधान के साथ पूजा करने से व्यक्ति के सारे संकट दूर होकर मोक्ष की प्राप्ति होती है. आज के दिन भगवान् विष्णु व आंवले के वृक्ष का पूजन करने से सभी 12 एकादशियो के बराबर का पुण्य व्यक्ति को प्राप्त होता है यह एकादशी व्रती को धन, मान-सम्मान, अच्छी सेहत, ज्ञान, पारिवारिक सुख, और मनोवांछित फल प्रदान करती है.
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आमलकी एकादशी नियम Amalaki Ekadashi Niyam
- एकादशी व्रत के नियम 3 दिन दशमी, एकादशी और द्वादशी के होते है इन तीनो दिन सात्विक भोजन ही ग्रहण करे.
- एकादशी व्रत फलाहार किया जाता है इसीलिए इस दिन अन्न का सेवन न करे और विशेषकर एकादशी के व्रत में चावलों का सेवन वर्जित माना गया है.
- एकादशी के दिन किसी पर क्रोध न करे।
- इस दिन किसी भी प्रकार की तामसिक चीजों से दूर रहे.
- एकादशी के दिन बाल व नाखून आदि नहीं काटने चाहिए.