सूर्य ग्रहण के दिन भूलकर भी ना करें ये काम solar eclipse effects 2017
21 अगस्त, 2017 को साल का दूसरा सूर्य ग्रहण लगेगा। कहा जा रहा है कि ये पूर्ण सूर्यग्रहण होगा जो यूरोप, उत्तर व पूर्व एशिया, उत्तर व पश्चिम अफ्रीका, उत्तरी अमेरिका में पश्चिम, दक्षिण अमेरिका, प्रशांत, अटलांटिक, आर्कटिक की ज्यादातर हिस्सों में दिखाई देगा.
कहा जा रहा है कि 99 सालों बाद अमेरिकी महाद्वीप में पूर्ण सूर्यग्रहण होगा. 21 अगस्त को सुबह 10.15 मिनट से सूर्यग्रहण दिखने लगेगा और दोपहर 2.50 बजे खत्म होगा. हालांकि भारत में सूर्यग्रहण नहीं दिखाई देगा इसलिए भारत के लोगों पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा.
इस दिन आपको क्या करना चाहिए और किन कामों से दूर रहना चाहिए.
इन सभी बातों की जानकारी होनी काफी जरूरी है. सूर्य ग्रहण के अशुभ प्रभाव से बचने के लिए आज हम आपको उन सभी कामों के बारे में बताएँगे जिन्हे सूर्य ग्रहण के दिन भूलकर भी नहीं करने चाहिए.
सबसे पहले बता दे कि सूर्य ग्रहण के समय, उसके बाद और उससे पहले का समय अशुभ माना जाता है और भारत जैसे धार्मिक देशों में इसे लोग बहुत गंभीरता से भी लेते हैं। सूर्य ग्रहण के अंतराल को सूतक काल भी कहा जाता है।
सूर्य ग्रहण की शुरुआत से लेकर अंत तक मंत्रों का उच्चारण, ध्यान, प्रार्थना और हवन करना काफी शुभ माना है। हालांकि ध्यान रखें कि इस दौरान मूर्ति पूजा नहीं करनी चाहिए। सूतक काल के समाप्त होने के बाद स्नान करें और नए वस्त्र धारण कर भगवान की मूर्तियों पर गंगाजल छिड़कें।
ध्यान रखें कि सूर्य ग्रहण और सूतक के दौरान तुलसी और शामी के पौधे को भूलकर भी स्पर्श ना करें. ग्रहण के पश्चात् इन पौधों पर पानी डालें या फिर गंगाजल छिड़कें। ऐसा करने से ये पुन: शुद्ध हो जाते हैं।
सूर्य ग्रहण के दौरान गायत्री मंत्र या अपने गुरु के मंत्र का जाप करें। मंदिर में दीपक या दीया भी प्रज्वलित करें। सूर्यग्रहण के दौरान कुछ भी खाने, पकाने, और सोने जैसे अन्य कार्य नहीं करने चाहिए।
सूर्य ग्रहण के दौरान तेल से मालिश नहीं करनी चाहिए. माना जाता है कि सूर्य ग्रहण के दौरान मालिश करने से त्वचा संबंधी बीमारियां हो सकती है.
सूर्य ग्रहण के दिन गर्भवती महिलाओं को अपना विशेषकर ध्यान रखना चाहिए. सूर्यग्रहण के दौरान इन्हे घर से बाहर नहीं निकलना चाहिए. साथ ही भगवान का जप करना चाहिए.