शनि जयंती उपाय Shani jayanti Upay 2024
शनि जयंती शुभ मुहूर्त 2024 Jyesth Amavasya 2024 Date
- साल 2024 में शनि जयंती 6 जून गुरूवार को मनाई जाएगी.
- अमावस्या तिथि प्रारम्भ होगी – 5 जून शाम 07:54 मिनट पर.
- अमावस्या तिथि समाप्त होगी- 6 जून शाम 06:07 मिनट पर.
- पूजा का शुभ मुहूर्त – प्रातःकाल 06:09 मिनट से प्रातःकाल 09:17 मिनट.
- अभिजीत मुहूर्त – प्रातःकाल 11:52 मिनट से दोपहर 12:48 मिनट.
शनि जयंती पूजा विधि Shani Amavasya Pooja Vidhi
शास्त्रों के अनुसार शनि जयंती पर शनिदेव की पूजा-उपासना के लिए प्रातःकाल स्नान के बाद किसी भी शनि मंदिर जाकर शनिदेव की प्रतिमा को प्रणाम करते हुए सरसों का तेल अर्पित करें। इसके बाद उन्हें काले तिल, उड़द की दाल, नीले फूल और नीले वस्त्र चढ़ाये इसके बाद सरसो के तेल का दीपक जलाएं और ऊँ शं शनैश्चराय नम: मंत्र का जप कर आरती करे अंत में जरूरतमंदों को शनि से सम्बंधित चीजों का दान करें।
शनिपूजा के नियम Shani dev Puja Niyam
- ज्योतिष अनुसार शनि देव न्याय के देवता और नव ग्रहो में सबसे शक्तिशाली है इनकी पूजा के समय विशेष नियमो का पालन करना चाहिए.
- शास्त्रों के अनुसार शनिदेव की पूजा में किसी भी तरह की अशुद्धता नहीं रखनी चाहिए.
- शनि देव की प्रतिमा के दर्शन करते समय उनकी आंखों में देखने से बचना चाहिए.
- शनिदेव की पूजा में उन्हें लाल रंग के पुष्प नहीं चढाने चाहिए बल्कि उन्हें उनके प्रिय नीले रंग के पुष्प अर्पित करने चाहिए.
- शनिदेव की पूजा में काले तिल और खिचड़ी का भोग लगाना चाहिए.
- मान्यता है की शनि देव की पूजा पश्चिम दिशा में करना अधिक शुभ होता है क्योकि पश्चिम दिशा शनि देव की ही दिशा मानी जाती है.
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शनि जयंती उपाय Shani Jayanti 2024
- शनि जयंती के दिन पीपल के पेड़ के नीचे 5 सरसों के तेल का दीपक जलाएं और फिर पीपल वृक्ष की परिक्रमा करे इसे शनि देव की कृपा प्राप्त होती है।
- शास्त्रों के अनुसार शनि जयंती के दिन शनिदेव के दिव्य मंत्र ‘ऊं प्रां प्रीं प्रौं स: शनैश्चराय नम:’ का जप बहुत फलदायी होता है.
- शनिदेव के आराध्य भगवान शिव हैं। शनि की साढ़ेसाती, ढैय्या या शनि की महादशा के दोष की शांति के लिए शनिदेव की पूजा के साथ-साथ शिवजी की पूजा कर ‘ॐ नमः शिवाय’ मंत्र का जाप करे.
- शनि देव को प्रसन्न करने के लिए शनि चालीसा, शनि स्तोत्र का पाठ कर सकते हैं.
- शनि जयंती के दिन किसी भी जरुरतमंद को तेल, काले कपड़े, लोहे की चीज़ें, और छाता दान करें.