चैत्र नवरात्रि महानवमी पूजा विधि Chaitra Navratri Puja Vidhi
Navratri 2023 Durga Navami शास्त्रों के अनुसार चैत्र नवरात्रि के नवें दिन माता सिद्धिदात्री का पूजन, हवन, कन्या पूजन, पारण और रामनवमी मनाई जाती है मान्यता है कि इसी दिन भगवन श्री राम का जन्म हुआ था. नवरात्रि का नवां दिन दुर्गा महा नवमी कहलाता है. सिद्धिदात्री मां दुर्गा का नवां स्वरूप है। इन्हें नवीं शक्ति कहा जाता है। आइये जानते है साल 2023 चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि या महानवमी व्रत की तिथि, पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजा विधि, माँ के स्वरुप, प्रिय रंग, फूल, भोग, मंत्र और इस दिन किये जाने वाले एक खास उपाय क्या है|
नवरात्रि नवमी शुभ मुहूर्त 2023 Navratri Navami Shubh Muhurat 2023
- साल 2023 चैत्र शुक्ल नवमी तिथि, रामनवमी और नवां नवरात्री व्रत 30 मार्च को रखा जायेगा|
- नवमी तिथि आरंभ होगी – 29 मार्च रात्रि 09:07 मिनट पर|
- नवमी तिथि समाप्त होगी – 30 मार्च रात्रि 11:30 मिनट पर|
- मध्याह्न पूजा मुहूर्त – प्रातःकाल 11:11 मिनट से दोपहर 01:40 मिनट तक|
- अभिजीत मुहूर्त होगा – प्रातःकाल 11:45 मिनट से दोपहर 12:30 मिनट तक|
- नवमी के दिन सर्वार्थ सिद्धि योग पूरे दिन है. इसलिए इस दिन सुबह से ही पूरा दिन कन्या पूजन के लिए शुभ है|
माता सिद्धिदात्री स्वरुप Devi Shiddhidatri Swaroop
माँ सिद्धिदात्री देवी दुर्गा की नवीं शक्ति के रूप में जानी जाती है. माँ का यह स्वरुप हर प्रकार की सिद्धि प्रदान करने वाला माना जाता है। माँ कमल पर विराजमान है इनकी चार भुजाएँ हैं माँ के दाहिने हाथ में गदा और दूसरे दाहिने हाथ में एक चक्र और दोनों बाएँ हाथों में शंख और कमल है। माँ का वाहन सिंह है.
नवरात्रि नवमी सिद्धिदात्री पूजा विधि Chaitra Navratri navami Puja Vidhi
नवरात्रि के नवें दिन देवी सिद्धिदात्री का पूजन और रामजन्मोत्सव मनाया जाता है नवमी के दिन प्रातःकाल स्नान के बाद व्रत व पूजा का संकल्प लेकर पूजा स्थल को स्वच्छ करे और देवी सिद्धिदात्री व भगवन राम जी की विधिवत पूजा करे. प्रतिमा के सामने धूप दीप जलाये. अब मां को रोली, अक्षत, फल, फूल, श्रृंगार का सामान और खीर हलवा पूरी का नैवेद्य अर्पित करें। साथ ही भगवान राम का तिलक कर उन्हें सभी पूजन सामग्री व तुलसी अर्पित करे. अब देवी सिद्धिदात्री के मंत्र ओम देवी सिद्धिदात्र्यै नमः का जाप करें। अब व्रत कथा का पाठ कर आरती कर ले. माँ की पूजा के बाद हवन और कन्या पूजन करे.
देवी सिद्धिदात्री प्रिय रंग, भोग व फूल Chaitra Navratri navami
शास्त्रों के अनुसार माँ के नवें रूप माता सिद्धिदात्री का प्रिय रंग लाल व गुलाबी है आज के दिन माँ को भोग में टिल या तिल से बनी चीजें, नारियल, हलवा, पूरी, चना और खीर का भोग बेहद प्रिय है और नवमी के दिन माँ की पूजा में उन्हें चंपा व गुड़हल के पुष्प चढाने से वे जल्दी प्रसन्न होती है.
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नवमी तिथि उपाय Chaitra Navratri navami Upay
- नवरात्री की नवमी के दिन सुबह स्नान के बाद मां दुर्गा की प्रतिमा के समक्ष दो मुखी घी दीपक लगाकर मां सिद्धिदात्री का स्मरण करते हुए उन्हें कुमकुम, सिंदूर, लाल फूल चढ़ाये और फिर 108 बार ह्रीं क्लीं ऐं सिद्धये नम: मंत्र का जाप करे इससे मनोकामना पूरी होती है.
- इस दिन माँ सिद्धिदात्री के साथ ही भगवान् राम जी की पूजा से जीवन में शुभ फल मिलते है
- धन लाभ और कार्यो में सफलता के लिए रामाष्टक का पाठ करना चाहिए और भगवन श्री राम को तुलसी अर्पित करने से मनोकामना पूरी होती है.