जन्माष्टमी व्रत पूजन विधि पारण दान Shree Krishn Janmashtami Vrat Vidhi
जन्माष्टमी तिथि व शुभ मुहूर्त 2022 Janmashtami Shubh Muhurat
- पंचांग के अनुसार इस बार जन्माष्टमी 19 अगस्त को मनाई जाएगी।
- अष्टमी तिथि आरंभ होगी – 18 अगस्त रात्रि 09:20 मिनट पर |
- अष्टमी तिथि समाप्त होगी – 19 अगस्त रात्रि 10:59 मिनट पर|
- निशिथ पूजा मुहूर्त – रात्रि 12:20 मिनट से 01:05 तक रहेगा|
- व्रत का पारण होगा – 19 अगस्त को|
जन्माष्टमी व्रत पूजन विधि Janmashtami Puja Vidhi
जन्माष्टमी के दिन भगवान श्री कृष्ण के बाल स्वरुप की पूजा की जाती है। जन्माष्टमी का व्रत अष्टमी तिथि से शुरू होकर नवमी के दिन व्रत का पारण किया जाता है| व्रती को एक दिन पूर्व सप्तमी को सात्विक भोजन ग्रहण करना चाहिए. अगले दिन अष्टमी तिथि को प्रातः स्नानादि से निवृत होकर सभी देवी देवताओं को प्रणाम कर व्रत का संकल्प लेकर व्रत प्रारम्भ करना चाहिए. सबसे पहले पूजास्थल पर बाल गोपाल की प्रतिमा स्थापित कर उनका श्रृंगार करे. अब देवकी जी के लिए प्रसूति गृह बनाएँ और शुभ कलश स्थापित करें. लड्डू गोपाल को माखन मिश्री का भोग लगाए अब अंत में उन्हें झूला झुलाये और विधिवत पूजा संपन्न करे. पारण मुहूर्त में व्रत का पारण कर पूजा संपन्न करे.
कृष्ण जन्माष्टमी व्रत के नियम Janmashtami Vrat Niyam
- शास्त्रों में प्रत्येक व्रत की ही तरह जन्माष्टमी व्रत के भी कुछ विशेष नियम बताये गए है जिनका पालन व्रती को अवश्य ही करना चाहिए.
- जन्माष्टमी के व्रत के दौरान अन्न का ग्रहण न करके फलाहार करना चाहिए.
- जन्माष्टमी व्रत का पारण नवमी तिथि के दिन सूर्योदय के बाद करना चाहिए.
- जन्माष्टमी का व्रत रखने वाले जातको को सप्तमी तिथि को सात्विक भोजन ग्रहण करना चाहिए.
- इस दिन गायों की पूजा और सेवा करनी चाहिए.
- जन्माष्टमी व्रत के दिन घर में लहसुन, प्याज जैसी तामसिक चीजों का प्रयोग नहीं करना चाहिए.
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पारण के दिन किन चीजों का दान करे Janmashtami Daan
- शास्त्रों के अनुसार किसी भी व्रत को करने के बाद कुछ विशेष चीजों का दान करने से व्रत का पूर्ण फल मिलता है.
- जन्माष्टमी व्रत का पारण और दान करने से व्यक्ति को दीर्घायु , सुख-समृद्धि और साथ ही मनोकामना पूर्ति होती है.
- व्रत के अगले दिन किसी ब्राह्मण या जरूरतमंद को अन्न, वस्त्र, रजत, स्वर्ण व मुद्रा का दान करना चाहिए.
- इस दिन फल और अनाज दान करने से सफलता की प्राप्ति होती है.
- भगवन श्री कृष्णा पीताम्बर धारी है इसीलिए जन्माष्टमी व्रत के बाद पीले रंग के वस्त्र व अनाज का दान करने से धन-धान्य का वरदान मिलता है.